बिग बैंग सिद्धांत के जनक कौन हैं? - big baing siddhaant ke janak kaun hain?

विषयसूची

  • 1 बिग बैंग सिद्धांत कब आया?
  • 2 बिग बैंग थ्योरी के जनक कौन है?
  • 3 बिग बैंग सिद्धान्त क्या है स्पष्ट *?
  • 4 बिग बैंग थ्योरी कितने सीज़न तक चली?
  • 5 सृष्टि में कितने ब्रह्मांड है?
  • 6 ब्रह्मांड की उत्पत्ति का सर्वाधिक मान्य सिद्धांत कौन सा है?

बिग बैंग सिद्धांत कब आया?

इसे सुनेंरोकेंआधुनिक भौतिक-शास्त्री जार्ज लेमैत्रे (Georges Lemaître) ने सन 1927 में सृष्टि की रचना के संदर्भ में महाविस्फोट सिद्धान्त(बिग-बैंग थ्योरी) का प्रतिपादन किया.

बिग बैंग थ्योरी के जनक कौन है?

इसे सुनेंरोकेंस्टीफन हॉकिंग ने इस थ्योरी को समझाया था. इस थ्योरी के अनुसार करीब 15 अरब साल पहले पूरे भौतिक तत्व और ऊर्जा एक बिंदु में सिमटी हुए थे. फिर इस बिंदु ने फैलना शुरू किया. बिग बैंग, बम विस्फोट जैसा विस्फोट नहीं था बल्कि इसमें, प्रारंभिक ब्रह्मांड के कण, समूचे अंतरिक्ष में फैल गए और एक दूसरे से दूर भागने लगे.

ब्रह्मांड की शुरुआत कैसे हुई?

इसे सुनेंरोकेंशिव पुराण मानता है कि नाद और बिंदु के मिलन से ब्रह्मांड की उत्पत्ति हुई। नाद अर्थात ध्वनि और बिंदु अर्थात प्रकाश। इसे अनाहत या अनहद (जो किसी आहत या टकराहट से पैदा नहीं) की ध्वनि कहते हैं जो आज भी सतत जारी है इसी ध्वनि को हिंदुओं ने ॐ के रूप में व्यक्त किया है। ब्रह्म प्रकाश स्वयं प्रकाशित है।

बिग बैंग सिद्धान्त क्या है स्पष्ट *?

इसे सुनेंरोकेंबिग बैंग या ज़ोरदार धमाका, ब्रह्मांड की रचना का एक वैज्ञानिक सिद्धांत है. यह इस सवाल का जवाब देने की कोशिश करता है कि यह ब्रह्मांड कब और कैसे बना. इस सिद्धांत के अनुसार, कोई 15 अरब वर्ष पहले समस्त भौतिक तत्व और ऊर्जा एक बिंदु में सिमटी हुई थी. इससे पहले क्या था, यह कोई नहीं जानता.

बिग बैंग थ्योरी कितने सीज़न तक चली?

इसे सुनेंरोकेंबढ़ती लोकप्रियता के कारण, 2010-11 सीज़न के लिए शो को दो वर्ष के लिए नवीकृत किया गया।

ब्रह्मांड कैसे बनता है?

इसे सुनेंरोकेंसूक्ष्म बिंदु में करीब 14 अरब साल पहले महाविस्फोट हुआ। इसे ही बिग बैंग कहते हैं। विस्फोट से बिंदु टुकड़े-टुकड़े होकर इधर-उधर छिटकने लगा। इसी से ब्रह्मांड की शुरुआत हुई।

सृष्टि में कितने ब्रह्मांड है?

इसे सुनेंरोकेंआजकल के वैज्ञानिक यहां तक मानते हैं कि ब्रह्मांड एक नहीं बल्कि अनेक हैं. इसके पीछे उनका यह तर्क है कि अंतरिक्ष का कोई भी ओर-छोर नहीं है, इसलिए एक से ज्यादा ब्रह्मांड होने की सम्भावना है.

ब्रह्मांड की उत्पत्ति का सर्वाधिक मान्य सिद्धांत कौन सा है?

इसे सुनेंरोकेंब्रह्मांड की उत्पत्ति से संबंधित सिद्धांतों में सबसे प्रमुख ‘बिग बैंग सिद्धांत’ सर्वाधिक प्रचलित एवं मान्य है। इसे ‘ब्रह्मांड परिकल्पना’ भी कहा जाता है। इसका प्रतिपादन वर्ष – ई.

विषयसूची

  • 1 बिग बैंग सिद्धांत कब और किसने दिया?
  • 2 बिग बैंग परिकल्पना क्या है?
  • 3 ब्रम्हांड का निर्माण कैसे हुआ?
  • 4 पूरा ब्रह्मांड कैसे बना?

बिग बैंग सिद्धांत कब और किसने दिया?

इसे सुनेंरोकेंजार्ज लेमैत्रे (1927) ने ही ब्रह्माण्ड की उत्पत्ति के संदर्भ में एक सिद्धांत का प्रतिपादन किया था जिसे बिग बैंग सिद्धांत कहा जाता है.

बिग बैंग सिद्धांत के जनक कौन है?

इसे सुनेंरोकेंबिग बैंग थ्योरी के जनक जार्ज लेमैत्रे है। इनके अनुसार प्रारंभ में संपूर्ण द्रव्य बहुत संघनित और अति उच्च ताप पर था। उसमें अब से लगभग 13.7 अरब वर्ष पूर्व एक विस्फोट हुआ। जिसे बिग-बैंग सिद्धांत (Bigbang theory) कहते हैं, तब से ब्रह्मांड लगातार फैल रहा है।

बिग बैंग परिकल्पना क्या है?

इसे सुनेंरोकेंबिग बैंग, बम विस्फोट जैसा विस्फोट नहीं था बल्कि इसमें, प्रारंभिक ब्रह्मांड के कण, समूचे अंतरिक्ष में फैल गए और एक दूसरे से दूर भागने लगे. इस सिद्धांत का श्रेय ऐडविन हबल नामक वैज्ञानिक को जाता है जिन्होंने कहा था कि ब्रह्मांड का निरंतर विस्तार हो रहा है. जिसका मतलब ये हुआ कि ब्रह्मांड कभी सघन रहा होगा.

महाविस्फोट का सिद्धांत क्या है?

इसे सुनेंरोकेंहाइड्रोजन, हीलियम आदि के अस्तित्त्व का आरंभ होने लगा था और अन्य भौतिक तत्व बनने लगे थे। ब्रह्मांड का जन्म एक महाविस्फोट के परिणामस्वरूप हुआ। इसी को महाविस्फोट सिद्धान्त या बिग बैंग सिद्धान्त कहते हैं।, जिसके अनुसार लगभग बारह से चौदह अरब वर्ष पूर्व संपूर्ण ब्रह्मांड एक परमाण्विक इकाई के रूप में था।

ब्रम्हांड का निर्माण कैसे हुआ?

इसे सुनेंरोकेंब्रह्मांड का निर्माण महाविस्फोट यानी बिग बैंग से हुआ था। अब वैज्ञानिकों ने बताया है कि लगभग 13.8 अरब साल पहले यह रहस्यमय महाविस्फोट किस तरह हुआ होगा। बिग बैंग सिद्धांत कहता है कि अरबों साल पहले पूरा ब्रह्मांड पदार्थों और ऊर्जा के एक बिंदु के रूप में था।

बिग बैंग की घटना कितने वर्ष पूर्व हुई थी?

इसे सुनेंरोकेंबिग बैंग सिद्धान्त के अनुसार लगभग १३.७ अरब वर्ष पूर्व(13.7 Billion year ago) ब्रह्मांड सिमटा हुआ था। इसमें हुए एक विस्फोट के कारण इसमें सिमटा हर एक कण फैलता गया जिसके फलस्वरूप ब्रह्मांड की रचना हुई। यह विस्तार आज भी जारी है जिसके चलते ब्रह्मांड आज भी फैल रहा है। इस धमाके में अत्यधिक ऊर्जा का उत्सजर्न हुआ।

पूरा ब्रह्मांड कैसे बना?

इसे सुनेंरोकेंसूक्ष्म बिंदु में करीब 14 अरब साल पहले महाविस्फोट हुआ। इसे ही बिग बैंग कहते हैं। विस्फोट से बिंदु टुकड़े-टुकड़े होकर इधर-उधर छिटकने लगा। इसी से ब्रह्मांड की शुरुआत हुई।

एडविन हबल ने किसकी खोज की थी?

इसे सुनेंरोकेंऍडविन पावल हबल (अंग्रेज़ी: Edwin Powell Hubble, जन्म: २० नवम्बर १८८९, देहांत: २८ सितम्बर १९५३) एक अमेरिकी खगोलशास्त्री थे जिन्होनें हमारी गैलेक्सी (आकाशगंगा या मिल्की वे) के अलावा अन्य गैलेक्सियाँ खोज कर हमेशा के लिए मानवजाती की ब्रह्माण्ड के बारे में अवधारणा बदल डाली।

बिग बैंग थ्योरी के जन्मदाता कौन है?

स्टीफन हॉकिंग ने इस थ्योरी को समझाया था. इस थ्योरी के अनुसार करीब 15 अरब साल पहले पूरे भौतिक तत्व और ऊर्जा एक बिंदु में सिमटी हुए थे. फिर इस बिंदु ने फैलना शुरू किया. बिग बैंग, बम विस्फोट जैसा विस्फोट नहीं था बल्कि इसमें, प्रारंभिक ब्रह्मांड के कण, समूचे अंतरिक्ष में फैल गए और एक दूसरे से दूर भागने लगे.

बिग बैंग सिद्धांत का दूसरा नाम क्या है?

एक सामान्य धारणा के अनुसार अंतरिक्ष स्वयं भी अपनी आकाशगंगाओं सहित विस्तृत होता जा रहा है। ऊपर दर्शित चित्र ब्रह्माण्ड के एक सपाट भाग के विस्तार का कलात्मक दृश्य है। ब्रह्मांड का जन्म एक महाविस्फोट के परिणामस्वरूप हुआ। इसी को महाविस्फोट सिद्धान्त या बिग बैंग सिद्धान्त कहते हैं।।

बिग बैंग का सिद्धांत कब आया?

बिग बैंग सिद्धांत आधुनिक सिद्धांत है और इसे विस्तरित ब्रह्मांड परिकल्पना भी कहा जाता है; ब्रह्मांड की उत्पत्ति से जुड़े कई सवालों को हल करने की कोशिश करता है। बिग बैंग थ्योरी को विस्तार ब्रह्मांड परिकल्पना सिद्धांत भी क्यों कहा जाता है? 1920 में, एडविन हबल ने सबूत दिया कि ब्रह्मांड का विस्तार हो रहा है।

बिग बैंग सिद्धांत क्या है विस्तार से समझाइए?

बिग बैंग, बम विस्फोट जैसा विस्फोट नहीं था बल्कि इसमें, प्रारंभिक ब्रह्मांड के कण, समूचे अंतरिक्ष में फैल गए और एक दूसरे से दूर भागने लगे. इस सिद्धांत का श्रेय ऐडविन हबल नामक वैज्ञानिक को जाता है जिन्होंने कहा था कि ब्रह्मांड का निरंतर विस्तार हो रहा है. जिसका मतलब ये हुआ कि ब्रह्मांड कभी सघन रहा होगा.