केंद्र में द्वैध शासन कब शुरू हुआ? - kendr mein dvaidh shaasan kab shuroo hua?

रॉबर्ट क्लाइव एक कुशल सेनापति के साथ-साथ अच्छा प्रशासक और सफल कूटनीतिज्ञ भी था। उसने द्वैध शासन की स्थापना कर बंगाल, बिहार और उड़ीसा में अंग्रेजी शक्ति को सुदृढ़ आधार प्रदान किया। इस शासन प्रबंध से कम्पनी की आय में 30 लाख पौण्ड की वृद्धि हो गई। किंतु, इस व्यवस्था के लागू होने के कुछ दिनों बाद ही इसमें अनेक प्रकार के दोष समाहित होने लगे। व्यवहारिक दृष्टि से द्वैध शासन का प्रबंध पूर्ण रूप से असफल रहा तथा इसके परिणाम बुरे निकले। एक ओर प्रशासन का पूरा दायित्व उठाने में नवाब असमर्थ था, क्योंकि एक तो वह आर्थिक दृष्टि से कमजोर था और दूसरे कम्पनी का उस पर नियंत्रण था, जबकि दूसरी आर अंग्रेजी कम्पनी के हाथों में शक्ति थी. तो उसके पास प्रशासन का कोई दायित्व नहीं था। कम्पनी ने अधिक-से-अधिक धन की उगाही को ही अपना लक्ष्य निर्धारित किया।

नवाब की शक्ति सीमित होने के कारण कम्पनी के अधिकारी नवाली आज्ञाओं का उल्लंघन करने लगे। राजस्व वसूली के लिए कम्पनी टा जमींदारों ने कृषकों का अमानवीय शोषण आरंभ कर दिया। इससे जनसाधार स्थिति अत्यंत दयनीय हो गयी। व्यापार की स्थिति भी बदतर हो गई। कपनीर अधिकारियों द्वारा किए गए अत्याचारों का नकारात्मक प्रभाव बंगाल के उद्योग- पर भी पड़ा-यहां का कुटीर उद्योग धीरे-धीरे बंद हो गया और शिल्पियों ने या तो अन्य व्यवसाय अपना लिए या बेरोजगारी का जीवन जीने के लिए बाध्य हो गए।

1757 ई. की प्लासी की लड़ाई और 1764 ई. में बक्सर के युद्ध को अंग्रेजों द्वारा जीत लिए जाने के बाद बंगाल पर ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कंपनी ने शासन का शिकंजा कसा. इसी शासन को अपने अनुकूल बनाए रखने के लिए अंग्रेजों ने समय-समय पर कई एक्ट पारित किए, जो भारतीय संविधान के विकास की सीढ़ियां बनीं. ये एक्‍ट्स इस प्रकार थे:

(1) 1773 ई. का रेग्‍यूलेटिंग एक्ट: इस एक्ट के अन्‍तर्गत कलकत्ता प्रेसिडेंसी में एक ऐसी सरकार स्थापित की गई, जिसमें गवर्नर जनरल और उसकी परिषद के चार सदस्य थे, जो अपनी सत्ता का उपयोग संयुक्त रूप से करते थे. इसकी मुख्य बातें इस प्रकार हैं:(i) कंपनी के शासन पर संसदीय नियंत्रण स्थापित किया गया.
(ii) बंगाल के गवर्नर को तीनों प्रेसिडेंसियों का जनरल नियुक्त किया गया.
(iii) कलकत्ता में एक सुप्रीम कोर्ट की स्थापना की गई.

(2) 1784& ई. का पिट्स इंडिया एक्ट: इस एक्ट के द्वारा दोहरे प्रशासन का प्रारंभ हुआ-
(i) कोर्ट ऑफ डायरेक्टर्स- व्यापारिक मामलों के लिए.
(ii) बोर्ड ऑफ कंट्रोलर- राजनीतिक मामलों के लिए.

(3) 1793 ई. का चार्टर अधिनियम: इसके द्वारा नियंत्रण बोर्ड के सदस्यों तथा कर्मचारियों के वेतन आदि को भारतीय राजस्व में से देने की व्‍यवस्‍था की गई.

(4) 1813 ई. का चार्टर अधिनियम: इसके द्वारा
(i) कंपनी के अधिकार-पत्र को 20 सालों के लिए बढ़ा दिया गया.
(ii) कंपनी के भारत के साथ व्यापर करने के एकाधिकार को छीन लिया गया. लेकिन उसे चीन के साथ व्यापर और पूर्वी देशों के साथ चाय के व्यापार के संबंध में 20 सालों के लिए एकाधिकार प्राप्त रहा.
(iii) कुछ सीमाओं के अधीन सभी ब्रिटिश नागरिकों के लिए भारत के साथ व्यापार खोल दिया गया.

(5) 1833 ई. का चार्टर अधिनियम: इसके द्वारा
(i) कंपनी के व्यापारिक अधिकार पूर्णतः समाप्त कर दिए गए.
(ii) अब कंपनी का कार्य ब्रिटिश सरकार की ओर से मात्र भारत का शासन करना रह गया.
(iii) बंगाल के गवर्नर जरनल को भारत का गवर्नर जनरल कहा जाने लगा.
(iv) भारतीय कानूनों का वर्गीकरण किया गया तथा इस कार्य के लिए विधि आयोग की नियुक्ति की व्यवस्था की गई.

(6) 1853 ई. का चार्टर अधिनियम: इस अधिनियम के द्वारा सेवाओं में नामजदगी का सिद्धांत समाप्त कर कंपनी के महत्वपूर्ण पदों को प्रतियोगी परीक्षाओं के आधार पर भरने की व्यवस्था की गई.

(A) भारतीय काउंसिल अधिनियम, 1892
(B) मिंटो-मार्ले सुधार, 1909
(C) मोंटेगू-चेम्सफोर्ड सुधार, 1919
(D) भारत सरकार अधिनियम, 1935

Answer : भारत सरकार अधिनियम, 1935

Explanation : केंद्र में द्वैध शासन की स्थापना भारत सरकार अधिनियम, 1935 के तहत की गई। इस अधिनियम में विधायी शक्तियों को केंद्र व प्रांतीय विधान मंडलों के बीच विभाजित किया गया। इसके तहत संघ सूची, राज्य सूची व समवर्ती सूची का निर्माण किया गया। इसके अतिरिक्त इस अधिनियम के द्वारा प्रांतों में द्वैध शासन व्यवस्था का अंत कर उन्हें स्वतन्त्र व स्वशासित प्रांतीय स्वायत्तता प्रदान की गई।
द्वैध शासन: कुछ संघीय विषयों [सुरक्षा, वैदेशिक संबंध, धार्मिक मामलें] को गवर्नर जनरल के हाथों में सुरक्षित रखा गया। अन्य संघीय विषयों की व्यवस्था के लिए गवर्नर-जनरल को सहायता एवं परामर्श देने हेतु मंत्रिमंडल की व्यवस्था की गई, जो मंत्रिमंडल व्यवस्थापिका के प्रति उत्तरदायी था।....अगला सवाल पढ़े

Useful for : UPSC, State PSC, SSC, Railway, NTSE, TET, BEd, Sub-inspector Exams

विषय  *भारत शासन अधिनियम 1919 व 1935*
                  

प्रश्न 1. मोन्टेस्क्यु- चैम्सफोडृ सुधार अधिनियम किसे कहा जाता है ?
अ  - भारत शासन अधिनियम 1919 ✅
ब - भारत शासन अधिनियम 1935
स - भारत शासन अधिनियम 1909
द  - भारत शासन अधिनियम 1868


प्रश्न 2. मोन्टेस्क्यु उस समय भारत में किस पद पर था ?
अ - सचिव ✅
ब - वायससराय
स-  गर्वनर
द  - गर्वनर जनरल


प्रश्न 3.  चैम्सफोर्ड उस समय किस पद पर थे  ?
अ  सचिव
ब  वायसराय ✅
स  गवर्नर
द  गवर्नर जनरल


प्रश्न 4. होमरूल आंदोलन किससे संबंधित था ?
अ  भारत शासन अधिनियम 1935
ब  भारत शासन अधिनियम 1919 ✅
स  भारत शासन अधिनियम 1940
द  भारत शासन अधिनियम 1947


प्रश्न 5. भारत शासन अधिनियम 1919 द्वारा प्रांतीय विषयों को कितने भागों में बांटा गया ?
अ  2✅
ब   3
स   4
द   5


नोट- 1⃣ आरक्षित विषय
        2⃣ हस्तांतरीत विषय

प्रश्न 6. भारत शासन अधिनियम 1919 की धारा केंद्रीय विधान परिषद कितने सदनीय व्यवस्था स्थापित की गई ?
अ  एक
ब  दो✅
स  तीन
द  चार


नोट- 1⃣ राज्य परिषद
        2⃣ केंद्रीय विधानसभा

प्रश्न 7.  किस अधिनियम के द्वारा प्रत्यक्ष निर्वाचन और सीमित मताधिकार की व्यवस्था की गई ?
अ  भारत शासन अधिनियम 1919 ✅
ब  भारत शासन अधिनियम 1935
स  भारत शासन अधिनियम 1942
द   भारत शासन अधिनियम 1864

प्रश्न 8. भारत शासन अधिनियम 1919 के द्वारा विधान परिषद के लिए मत कौन दे सकता है ?
अ  सभी वयस्क नागरिक
ब   केवल ब्रिटिश नागरिक
स   जिनकी आज 10000 हो ✅
द    ए ओर  बी दोनों

प्रश्न 9. केन्द्रीय लोकसेवा आयोग का गठन कब किया गया ?
अ   1947
ब   1923
स   1950
द    1925✅


प्रश्न 10.  प्रान्तो में  द्वैध  शासन प्रणाली कब आरंभ की गई ?
अ  1 अप्रैल 1921 ✅
ब   1 अप्रैल 1919
स   1 अप्रैल 1922
द   1 अप्रैल 1920


प्रश्न 11. भारतीय शासन अधिनियम 1919 को निराशजनक तथा असंतोष पद की संज्ञा दी ?
अ  महात्मा गांधी
ब  जवाहरलाल नेहरु
स  बाल गंगाधर तिलक ✅
द   सरदार वल्लभ भाई


प्रश्न 12.  1919 के सुधारों को असंतोषप्रद वह निराशजनक एक बिना सूरज का सवेरा बताया ?
अ  लोकमान्य तिलक ✅
ब   जवाहरलाल नेहरू
स   लाला लाजपत राय
द    सभी ने

प्रश्न 13.  साइमन कमीशन में कितने सदस्य थे ?
अ - 8
ब -  6
स -  7✅
द  - 5

प्रश्न 14. भारत शासन अधिनियम 1919 के तहत गठित केंद्रीय विधान परिषद के उच्च सदन (विधानसभा) का कार्यकाल होता था ?
अ   5 वर्ष
ब    3 वर्ष ✅
स    2 वर्ष
द    6 वर्ष


प्रश्न 15. भारत शासन अधिनियम 1935 में कितने भाग धाराएं व अनुसूचियां थी ?
अ - भाग 14 धाराए 322 अनुसूचियां 8
ब - भाग 15 धाराए 31अनुसूचियां 10
स - भाग 22 धारा 395 अनुसूचियां 12
द - भाग 14 धाराएं 321 अनुसूची 10✅

प्रश्न 16. केंद्र में द्वैध शासन व्यवस्था किस अधिनियम के तहत लागू हुई  ?
अ   1919
ब    1935 ✅
स    1909
द    1891


प्रश्न 17.  प्रांतों में द्वैध शासन व्यवस्था समाप्त किस अधिनियम के द्वारा की गई ?
अ  1919
ब   1935✅
स   1909
द   1923


प्रश्न 18. केंद्रीय बैंक की स्थापना किस अधिनियम के तहत की गई ?
अ - भारत शासन अधिनियम 1919
ब - भारत शासन अधिनियम 1939
स - भारत शासन अधिनियम 1935 ✅
द - भारत शासन अधिनियम 1947

प्रश्न 19. 1935 के अधिनियम के द्वारा केंद्रीय विधानमंडल के कितने अंग थे ?
अ  दो
ब  तीन ✅
स  चार
द   छः

नोट- 1⃣गवर्नर जनरल
        2⃣राज्य परिषद
        3⃣विधानसभा

प्रश्न 20.  भारत शासन अधिनियम 1935 को दासता का आज्ञापत्र तक अनेक ब्रेको वाली परंतु इंजन रहित मशीन की संज्ञा दी ?
अ   जे. एल. नेहरू ✅
ब   भीमराव अंबेडकर
स   महात्मा गांधी
द    लोकमान्य तिलक

प्रश्न 21.  नेहरू रिपोर्ट के लिए गठित समिति में कितने सदस्य थे ?
अ    7
ब    8✅
स    6
द     5

प्रश्न 22. प्रथम गोलमेज सम्मेलन में हिंदू महासभा की तरफ से भाग लेने कौन गए थे ?
अ  सी वी चिंतामणी
ब   तेजबहादुर सप्रू
स  के टी शाह
द  बी एस मुंजे✅

प्रश्र 23.  1919 का भारतीय शासन अधिनियम ब्रिटिश भारत के कितने प्रांतों में लागू किया गया    ?
अ)  11
ब)    7
स)   9✅
द)    5

प्रश्र 24.  किस रिपोर्ट में 1919 अधिनियम की रूपरेखा तैयार की गई थी ?
अ)  मोन्टेस्क्यु घोषणा✅
ब)   कार्टियस घोषणा
स)    नेहरू रिर्पाट
द)   कोई नही

प्रश्र 25.  मोन्टेस्क्यु घोषणा कब की गई थी ?
अ) 1917
ब)  1921
स)  1922
द)  1918✅

प्रश्र 26. निम्नलिखित में से कौन सी विशेषता 1919 के भारत शासन अधिनियम की नहीं है ?
अ)  kendriy व्यवस्थापिका
ब)  प्रांतों में द्वैध शासन
स)  संघीय न्यायालय✅
द)   कोई नही

प्रश्र 27.  रक्षित विषय में कुल कितने विषय  थे ?
अ) 22
ब)  23
स)  29✅
द)   27

प्रश्र.28.  स्थानांतरित विषय में कुल कितने विषय हैं ?
अ) 22✅
ब)  29
स)  23
द)  21

प्रश्र. 29 नरेश मंडल की स्थापना कब हुई थी ?
अ) 1920
ब)  1921✅
स)  1922
द)  1927

प्रश्र 30.  नरेश मंडल में कुल कितने सदस्य थे ?
अ) 120
ब) 121✅
स) 122
द) 127

प्रश्र.31.  Naresh  मंडल का प्रधान होता है ?
अ)  वायसराय✅
ब)  पोलिटिकल एजेंट
स)  प्रशासक
द)  कोई नही

प्रश्र 32. 1935 का अधिनियम कब लागू किया गया ?
अ)  1अप्रेल , 1937✅
ब)   1 मार्च, 1937
स)  1 जनवरी, 1973
द)   1 मई ,1937

प्रश्र 33. 1935 का भारत शासन अधिनियम ब्रिटिश भारत के कितने प्रांतों में लागू किया गया था ?
अ)  9
ब)  10
स)  11✅
द)   12

प्रश्र 34.  1935 के भारत शासन अधिनियम में सम्मिलित थे ?
अ)  321 अनु. 10 भाग✅
ब)  321 अनु. 12 भाग
स)  321 अनु. 15 भाग
द)  321 अनु. 8 भाग

प्रश्र 35. 1935 के अधिनियम में कितनी धाराएं एवं कितनी अनुसूचियां थी ?
अ)  451 व 15 ✅
ब)  451 व 12
स)  452  व 12
द)  451 व 10

प्रश्र 36.  किस अधिवेशन की एक प्रस्तावना थी जिसमे •उत्तरदायी शासन• की स्थापना करना मुख्य उद्देश्य था ?
A.  1909
B.  1919✅
C.  1935
D  किसी मे भी नही

प्रश्र 37.  1919 अधिनिमय के तहत सम्प्रदायक प्रणाली का विस्तार करके किस किस को ओर जोड़ा गेया ?
1 यूरोपियन       2 शिख
3 आंग्ल भरतीय 4भारतीय बौद्ध
सही कूट होगा ?
A  1,4
B  1,2,3✅
C  1,2,3,4
D   2,3,

प्रश्र 38.  प्रिंसेस चैम्बर का प्रावधान किस अधिनियम में था ?
A.  1909     
B.  1919✅
C   1935     
D. 1935

प्रश्र 39.  1935 अधिनियम के बारे में  गलत कथन कोनसा है ?
A.  मताधिकार का विस्तार कर 10 % किया गेया✅
B.  केंद्र में उच्च सदन में  260 व निम्न सदन में 376 स्थान किए
C.  केंद्र में द्वेध शासन
D.  अखिल भारतीय संघ का प्रावधान

प्रश्र 40. 1935 अधिनियम में समवर्ती सूची में कितने विषय थे ?
A.   59    
B.   54
C.   36✅    
D.   52

प्रश्न 41.  भारत शासन अधिनियम 1935 में अवशिष्ट शक्ति निहित थी ?        

A-  प्रांतो में     
B-  केन्द्र में   
C-  गवर्नर जनरल मे✅      
D-  उपरोक्त में किसी मे नही

प्रश्न-42 किस अधिनियम में पहेली बार लोक सेवा आयोग का प्रावधान किया गया ?
A-  1909       
B-  1919 ✅        
C-  1935               
D-  1892

प्रश्र 43. 1935 के एक्ट के अधीन कितने राज्य मे द्विसदनीय व्यवस्था प्रारभ की गई ?
A   5
B   6✅
C   7
D   8

प्रश्र 44.  केन्द्र मे द्वैध शासन प्रणाली का शुभांरभ किया गया ?
A  1935 के एक्ट मे✅
B  1919 के एक्ट मे
C  1909 के एक्ट मे
D  1858 के एक्ट मे

प्रश्न 45. भारत परिषद अधिनियम 1858 द्वारा स्थापित भारत परिषद को समाप्त कर दिया ?
A   1858 के एक्ट द्वारा
B   1909 के एक्ट द्वारा
C   1919 के एक्ट द्वारा
D   1935 के एक्ट द्वारा✅

प्रश्न 46. किस अधिनियम द्वारा शासन को ईस्ट इंडिया कंपनी के हाथों से क्राउन के हाथों में हस्तांतरित किया गया  ?
A. 1858 का अधिनियम✅
B.  1861 का अधिनियम
C.  1960 का अधिनियम
D.  1919 का अधिनियम

प्रश्न 47. किस अधिनियम को गवर्नमेंट ऑफ इंडिया एक्ट कहते हैं  ?
A. 1919 का अधिनियम ✅
B. 1842 का अधिनियम
C. 1861 का अधिनियम
D. 1935 का अधिनियम

प्रश्न 48. किस अधिनियम द्वारा केंद्र तथा राज्यों में शक्ति का विभाजन कर दिया गया  ?
A.  मांटेग्यू चेम्सफोर्ड सुधार
B.  मार्ले मिंटो सुधार
C. 1935 का अधिनियम ✅
D.  कैबिनेट मिशन योजना

प्रश्न 49. किस अधिनियम के तहत भारत के उच्चायुक्त के कार्यालय का सृजन किया   ?
A  1892 अधिनियम
B  1909 अधिनियम
C  1919 अधिनियम✅
D  1935 अधिनियम

प्रश्न 50.  1935 के अधिनियम को "रचनात्मक राजनीतिक विचार की एक महान सफलता" किसने कहा है ?
A   मि. एटली
B   प्रो. कूपलैण्ड✅
C   विंस्टन चर्चिल
D   मि. जिन्ना

प्रश्न 51.  1935 के अधिनियम के लिए यह कथन "नया संविधान द्धैध शासन से भी बुरा है" किसने कहा है  ?
A  मदन मोहन मालवीय
B  राजगोपालाचार्य✅
C  मि. जिन्ना
D  मौलाना आजाद

प्रश्न 52.  1935 के अधिनियम द्वारा स्थापित संघ में अवशेष शक्तियां किसको दी गयी थी ?
A-  संघीय विधानपालिका को
B-  प्रांतीय प्रतिनिधि मंडल को
C-  गवर्नर जनरल को✅
D-  प्रान्तीय गवर्नरों को

प्रश्न 53. एक संघीय व्यवस्था और केंद्र में द्वैध शासन भारत में लागू किया गया था  ?
A-  1909 के अधिनियम द्वारा
B-  1919 के अधिनियम द्वारा
C-  1935 के अधिनियम द्वारा✅
D -  उपर्युक्त में से कोई नहीँ

केंद्र में द्वैध शासन की स्थापना कब हुई?

1919 का द्वैध शासन 1919 ई. के भारत सरकार अधिनियम (गवर्नमेंट ऑफ इंडिया ऐक्ट) द्वारा प्रांतीय सरकार को मजबूत बनाया गया और द्वैध शासन की स्थापना की गई। इसके पहले प्रांतीय सरकारों पर केंद्र सरकार का पूर्ण नियंत्रण रहता था। लेकिन अब इस स्थिति में परिवर्तन लाकर प्रान्तीय सरकारों को उत्तरदायी बनाने का प्रयास किया गया।

भारत में द्वैध शासन का अंत कब हुआ?

(iv) द्वैध शासन प्रणाली को 1935 ई० के एक्ट के द्वारा समाप्त कर दिया गया.

प्रांतों में द्वैध शासन की समाप्ति कब हुई?

1 अप्रैल 1921 से भारत के 8 प्रांतों बंगाल, बिहार, मद्रास, संयुक्त प्रांत, मध्य प्रांत, पंजाब और आसाम में द्वैध शासन को लागू किया गया और यह 1937 तक चलता रहा। इस प्रकार 16 वर्ष तक यह प्रयोग किया गया।

केंद्र में द्वैध शासन क्या था?

1919 के पहले प्रांतीय सरकारों पर केंद्र सरकार का पूर्ण नियंत्रण रहता था. लेकिन अब इस स्थिति में परिवर्तन लाकर प्रांतीय सरकारों को उत्तरदायी बनाने का प्रयास किया गया. इस द्वैध शासन का एकमात्र उद्देश्य था – भारतीयों को पूर्ण उत्तरदायी शासन के लिए प्रशासनिक शिक्षा देना.