औद्योगिक क्रांति का जीवन पर प्रभाव
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औद्योगिक क्रांति का महिलाओं पर क्या प्रभाव पड़ा?इसे सुनेंरोकेंयातायात के साधनों के फलस्वरूप उन्हें और भी ज्यादा आजादी प्राप्त हो गई जो औद्योगीकरण से पूर्व सीमित थी। नि:संदेह औद्योगिक क्रांति के फलस्वरूप उच्च वर्ग की महिलाओं का जीवन और अधिक सुविधापूर्ण तथा आनंदमय बन गया। उन्हें नवीन उपभोक्ता वस्तुएँ व भोजन सामग्री प्राप्त होने लगी। उनकी जीवन शैली में हर दिन बदलाव आने लगा था। औद्योगिक क्रांति का समाज पर क्या प्रभाव पड़ा?इसे सुनेंरोकेंसामाजिक प्रभाव औद्योगिक क्रांति से नए सामाजिक वर्गों का उदय हुआ जैसे- मज़दूर एवं पूंजीपति। अब आर्थिक मापदंड संबंधों का मुख्य सूत्र बन गया। संबंधों का अर्थ आधारित होने से समाज में आर्थिक असुरक्षा की भावना बढ़ गई। समाज में मध्यम वर्ग का प्रभाव बढ़ गया। औद्योगिक क्रांति का औरतों और बच्चों पर क्या प्रभाव पड़ा? इसे सुनेंरोकेंइसका स्त्रियों के स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव पड़ा । उनकी मृत्यु बहुत ही कम आयु में हो जाती थी । गर्भवती स्त्रियों तथा बच्चों को जन्म देने वाली स्त्रियों की दशा तो और भी खराब थी । अधिकांश बच्चे बीमार पैदा होने होते थे और पैदा होते ही मर जाते थे या फिर 5 वर्ष की आयु तक ही पहुंच पाते थे। औद्योगीकरण का भारत पर क्या प्रभाव पड़ा? इसे सुनेंरोकेंऔद्योगीकरण एवं नगरीकरण के कारण मानव को प्राप्त होने वाली सुख-सुविधाओं में वृद्धि एवं उत्पादन में बढ़ोत्तरी के कारण उसके जीवन-स्तर में वृद्धि हुई। प्राथमिक सम्बन्धों का ह्रास हुआ और द्वितीयक सम्बन्ध’ पनपे। आवश्यकताओं में वृद्धि हुई। शिक्षा में वृद्धि हुई। औद्योगिकीकरण का भारतीय अर्थ व्यवस्था पर क्या प्रभाव पड़ा वर्णन करें?इसे सुनेंरोकेंऔद्योगिक क्षेत्र भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए महत्वपूर्ण है जोकि विभिन्न सामाजिक, आर्थिक उद्देश्यों की पूर्ति के लिए आवश्यक है जैसे कि ऋण के बोझ को कम करना, विदेशी प्रत्यक्ष निवेश आवक (एफडीआई) का संवर्द्धन करना, आत्मनिर्भर वितरण को बढ़ाना, वर्तमान आर्थिक परिदृय को वैविध्यपूर्ण और आधुनिक बनाना. औद्योगिक क्रांति ने लोगों के रहन सहन के स्तर पर क्या प्रभाव डाला?इसे सुनेंरोकेंसांस्कृतिक परिवर्तन : औद्योगिक क्रांति से पुराने रहन-सहन के तरीकों, वेश-भूषा, रीति-रिवाज, धार्मिक मान्यता, कला-साहित्य, मनोरंजन के साधनों में परिवर्तन हुआ। परम्परागत शिक्षा पद्धति के स्थान पर रोजगारपरक तकनीकी एवं प्रबन्धकीय शिक्षा का विकास हुआ। भारत में औद्योगीकरण की प्रमुख समस्याएं क्या है? इसे सुनेंरोकेंलेकिन औद्योगीकरण के 350 साल के इतिहास ने यह सिद्ध किया कि औद्योगीकरण समाधान नहीं बल्कि खुद एक समस्या है। गरीबी, भुखमरी, कुपोषण, बेरोजगारी, आर्थिक विषमता जैसे आर्थिक सवालों का उसके पास कोई हल नहीं है बल्कि यह समस्याएं औद्योगीकरण के कारण ही पैदा हुई हैं। औद्योगिक क्रांति का क्या आशय है? इसे सुनेंरोकेंऔद्योगिक क्रांति का अर्थ:- औद्योगिक क्रांति का साधारण अर्थ है- हाथों द्वारा बनाई गई वस्तुओं के स्थान पर आधुनिक मशीनों के द्वारा व्यापक स्तर पर निर्माण की प्रक्रिया को उद्योगिक क्रांति कहा जाता है। औद्योगिक क्रांति का प्रारंभ 18 वीं शताब्दी में इंग्लैंड में हुई। औद्योगिक क्रांति के कारण और परिणाम क्या थे?इसे सुनेंरोकेंऔद्योगिक क्रांति मे नवीन आविष्कारों के कारण खदानों की खोज हुई, कारखानों की आवश्यकता हुई तथा इनके लिये बड़ी मात्रा मे कच्चे माल की आवश्यकता हुई। इसके कारण उपनिवेशों का तथा श्रमिकों का शोषण भी होने लगा। हजारों श्रमिक मशीनों के कारण बेकार होने लगे, श्रमिकों की आर्थिक समस्यायें उत्पन्न होने लगी। अनेक बैंकों की स्थापना हुई। क्रांति क्या है इसके परिणामों की व्याख्या करें?इसे सुनेंरोकेंक्रान्ति (Revolution) अधिकारों या संगठनात्मक संरचना में होने वाला एक मूलभूत परिवर्तन है जो अपेक्षाकृत कम समय में ही घटित होता है। मानव इतिहास में अनेकों क्रान्तियां घटित होती आई हैं और वह पद्धति, अवधि व प्रेरक वैचारिक सिद्धांत के मामले में काफी भिन्न हैं। औद्योगिक क्रांति का बच्चों पर क्या प्रभाव पड़ा? इसे सुनेंरोकेंअट्ठारहवीं शताब्दी के उत्तरार्ध तथा उन्नीसवीं शताब्दी के पूर्वार्ध में कुछ पश्चिमी देशों के तकनीकी, सामाजिक, आर्थिक एवं सांस्कृतिक स्थिति में काफी बड़ा बदलाव आया। इसे ही औद्योगिक क्रान्ति (Industrial Revolution) के नाम से जाना जाता है। यह सिलसिला प्रारम्भ होकर पूरे विश्व में फैल गया। औद्योगिक क्रांति से आप क्या समझते हैं औद्योगिक क्रांति के कारणों का विवेचना कीजिए? इसे सुनेंरोकेंभूमिका: 18वीं शताब्दी के उत्तरार्द्ध में आर्थिक व तकनीकी क्षेत्र में हुए व्यापक परिवर्तनों के कारण घरेलू उत्पादन प्रणाली का स्थान कारखाना उत्पादन प्रणाली ने ले लिया। इन परिवर्तनों से आधुनिक व्यापार प्रणाली का विकास हुआ व उत्पादन और व्यापार में अप्रत्याशित वृद्धि हुई, जिसे औद्योगिक क्रांति की संज्ञा दी जाती है। ब्रिटेन में हुई औद्योगिक क्रांति के क्या परिणाम निकले?ब्रिटेन की औद्योगिक क्रांति का भारत के बुनकरों पर क्या प्रभाव पड़ा?इसे सुनेंरोकेंइसने न केवल उत्तर और दक्षिण अमेरिका दोनों में बड़े बाजारों पर कब्जा कर लिया, बल्कि 1820 और 1840 के बीच इसकी प्रतिस्पर्धा ने भारत के कपास उद्योग को नष्ट कर दिया। यह केवल लंकाशायर के बाजारों का संतुष्टिदायक विस्तार नहीं था। यह विश्व इतिहास में एक प्रमुख मील का पत्थर था। औद्योगिक क्रांति का महिलाओं पर क्या प्रभाव पड़ा?ब्रिटेन में औद्योगीकरण के कारण स्त्रियों को कारखानों में ज्यादा देर तक काम करने के फलस्वरूप उसका बुरा प्रभाव उनके स्वास्थ्य पर पड़ा और स्त्रियों का गृहस्थ जीवन बर्बादी की कगार पर आ गया। वहीं दूसरी तरफ औद्योगीकरण के कारण संपन्न व उच्चवर्ग की स्त्रियों का जीवन और भी अधिक आनंदमय हो गया।
ब्रिटेन में औद्योगिक क्रांति के कारण महिलाओं और बच्चों का जीवन कैसे प्रभावित हुआ?' * इस क्रांति के ब्रिटेन में दूरगामी प्रभाव हुए। बाद में, यूरोप के देशों और संयुक्त राज्य अमरीका में ऐसे ही परिवर्तन हुए और उन परिवर्तनों का उन देशों तथा शेष विश्व के समाज और अर्थव्यवस्था पर भी काफी प्रभाव पड़ा। ब्रिटेन में औद्योगिक विकास का यह चरण नयी मशीनों और तकनीकियों से गहराई से जुड़ा है।
औद्योगिक क्रांति के परिणामस्वरूप औरतों और बच्चों के जीवन पर क्या प्रभाव पड़े वर्णन कीजिए?औद्योगिक क्रांति का इंग्लैंड के श्रमिकों पर बहुत बुरा प्रभाव पड़ा। स्त्रियों तथा बच्चों से भी काम लिया जाने लगा और उन्हें बहुत कम मजदूरी मिलती थी। श्रमिकों को 15 से 18 घंटे तक काम करना पड़ता था। थकावट होने पर भी उन्हें आराम करने की अनुमति नहीं थी।
औद्योगिक क्रांति का स्त्रियों और बच्चों के जीवन पर क्या असर पड़ा?इसका स्त्रियों के स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव पड़ा । उनकी मृत्यु बहुत ही कम आयु में हो जाती थी । गर्भवती स्त्रियों तथा बच्चों को जन्म देने वाली स्त्रियों की दशा तो और भी खराब थी । अधिकांश बच्चे बीमार पैदा होने होते थे और पैदा होते ही मर जाते थे या फिर 5 वर्ष की आयु तक ही पहुंच पाते थे।
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