जामुन का पेड़ पाठ में दबा हुआ आदमी एक कवव है यह बात कै से पता चली और इस जानकारी का फाइल की यात्रा पर क्या असर पड़ा? - jaamun ka ped paath mein daba hua aadamee ek kavav hai yah baat kai se pata chalee aur is jaanakaaree ka phail kee yaatra par kya asar pada?

Home » Class 11 Hindi » NCERT Solutions for Class XI Aaroh Part 1 Hindi Chapter 8- Krishn Chandra

आरोह भाग -1 कृश्नचंदर (निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर दीजिए )


प्रश्न 1:बेचारा जामुन का पेड़। कितना फलदार था। और इसकी जामुनें कितन रसीली होती थीं।
(क) ये संवाद कहानी के किस प्रसंग में आए हैं?
(ख) इससे लोगों कि किस मानसिकता का पता चलता है?
उत्तर :   (क) यह संवाद उस प्रसंग में आया है, जब सेक्रेटेरिएट के आँगन में एक जामुन का पेड़ आँधी के कारण गिर जाता है। उस पेड़ के गिरने से सभी दुखी हैं परन्तु उसके नीचे जो आदमी फँसा है, उसकी किसी को चिंता नहीं होती है।
(ख) इससे लोगों की इस मानसिकता का पता चलता है कि लोग केवल अपना स्वार्थ देखते हैं। अपने स्वार्थ के अतिरिक्त उन्हें किसी की परवाह नहीं होती है। संवेदनशीलता तो जैसे उनके अंदर से मर ही चुकी है।


प्रश्न 2:दबा हुआ आदमी एक कवि है, यह बात कैसे पता चली और इस जानकारी का फाइल की यात्रा पर क्या असर पड़ा?
उत्तर :  सेक्रेटेरिएट का माली दबे हुए व्यक्ति को खाना खिलाने जाता है। खाना खिलाते समय वह दबे हुए व्यक्ति को बताता है कि उसके विषय में सभी सेक्रेटियों की मींटिग हो रही है। अतः उसके विषय में कुछ-न-कुछ फैसला निकल आएगा। तब वह एक शेर बोलता है, जिससे माली को पता चलता है कि वह एक कवि है। जब माली को पता चला कि यह कवि है, तो पूरे सेक्रेटेरिएट में यह बात फैल गई। सभी उसके पास आ गए। अब कहा गया कि यह फाइल न एग्रीकल्चर और न हॉर्टीकल्चर की है। यह तो कल्चर डिपार्टमेंट की है।  इस तरह फाइल कल्चर डिपार्टमेंट में घूमकर साहित्य अकादमी सेक्रेटरी के पास पहुँची। वे भी कुछ नहीं कर पाए और पेड़ के नीचे दबा व्यक्ति दबा ही रह गया।


प्रश्न 3:कृषि विभाग वालों ने मामले को हॉर्टीकल्चर विभाग को सौंपने के पीछे क्या तर्क दिए?
उत्तर :  कृषि विभाग वालों ने मामले को हॉर्टीकल्चर विभाग को सौंपने के पीछे तर्क दिए कि कृषि विभाग अनाज तथा खेती-बाड़ी के विषय से संबंधित मामलों में फैसला करता है। वह फलदार वृक्ष के मामले में फैसला नहीं कर सकता है। अतः यह एग्रीकल्चर के स्थान पर हॉर्टीकल्चर डिपार्टमेंट के अंतर्गत आएगा।


प्रश्न 4:इस पाठ में सरकार के किन-किन विभागों की चर्चा की गई है और पाठ से उनके कार्य के बारे में क्या अंदाजा मिलता है?
उत्तर :इन विभागों की चर्चा हुई हैः-
• कृषि विभाग
• व्यापार विभाग
• विदेश विभाग
• साहित्य अकादमी
• कल्चरल डिपार्टमेंट
• हार्टीकल्चर डिपार्टमेंट
• फॉरेस्ट डिपार्टमेंट
• मेडिकल डिपार्टमेंट
इससे पता चलता है कि यह विभाग स्वयं किसी निर्णय को नहीं ले सकते हैं। इनमें मानवता का लेश मात्र नहीं है। बस नियमों का ढोल पीटते हैं। अपनी ज़िम्मेदारी कोई नहीं समझता है।


प्रश्न 5: कहानी में दो प्रसंग ऐसे हैं, जहाँ लोग पेड़ के नीचे दबे आदमी को निकालने के लिए कटिबद्ध होते हैं। ऐसा कब-कब होता है और लोगों का यह संकल्प दोनों बार किस-किस वजह से भंग होता है।
उत्तर :  पहला प्रसंग तब का है, जब पेड़ के नीचे दबे आदमी को निकालने के लिए सेक्रेटेरिएट में क्लर्क और माली कटिबद्ध होते हैं। वहाँ का एक सुपरिंटेंडेंट आता है और उन्हें ऐसा करने से रोक देता है। वह कृषि विभाग से स्वीकृति पाने की बात कहकर उन्हें रोक देता है।
दूसरा प्रसंग तब का है, जब पेड़ के नीचे दबे आदमी को निकालने के लिए फॉरेस्ट विभाग के आदमी कुल्हाड़ी तथा आरी लेकर आते हैं। विदेश विभाग यह कहकर रोक देता है कि यह पेड़ पीटोनिया के प्रधानमंत्री ने लगाया था। यदि इस पेड़ को काट दिया जाएगा, तो उनसे हमारे संबंध खराब हो सकते हैं।


प्रश्न 6:यह कहना यहाँ तक युक्तिसंगत है कि इस कहानी में हास्य के साथ-साथ करुणा की भी अंतर्धारा है। अपने उत्तर के पक्ष में तर्क दें।
उत्तर : इस कहानी में हास्य चारों ओर बिखरा हुआ है तथा पेड़ के नीचे दबे व्यक्ति के रूप में करुणा की भी अंतर्धारा बहती रहती है। सरकारी विभागों द्वारा पेड़ के नीचे दबे व्यक्ति को निकालने के लिए स्थान पर मूर्खतापूर्ण कार्य तथा सलाहें हमें हँसा देती हैं। पेड़ के नीचे दबे व्यक्ति के बारे में पढ़ते हैं, तो उससे करुणा हो आती है। रह-रहकर पेड़ के नीचे दबे व्यक्ति की दशा हमें द्रवित करती है। करूणा तब प्रबल हो जाती है, जब पेड़ के नीचे व्यक्ति मर जाता है और चीटियों की पंक्ति उसके मुख में प्रवेश करती है।


प्रश्न 7:यदि आप माली की जगह पर होते, तो हुकूमत के फैसले का इंतज़ार करते या नहीं? अगर हाँ, तो क्यों? और नहीं, तो क्यों?
उत्तर :  यदि मैं माली की जगह पर होता, तो हुकूमत के फैसले का कभी इंतज़ार नहीं करता। दबा व्यक्ति कोई वस्तु नहीं है। वह मनुष्य है और उसे दर्द होता है। अतः मैं तुरंत निर्णय लेता और उस दबे व्यक्ति को निकालने का प्रयास करता। इसके लिए यदि सरकार मेरी सहायता न करती तो न सही। मैं बाहर से लोगों को बुलवाता और उसे दबे व्यक्ति को बाहर निकालता। इसके बाद उसका तुरंत इलाज़ करवाता। इस तरह में दबे व्यक्ति का मज़ाक नहीं बनने देता।


प्रश्न 8:कहानी के वैकल्पिक शीर्षक सुझाएँ। निम्नलिखित बिंदुओं को ध्यान में रखकर शीर्षक गढ़े जा सकते हैं-
• कहानी में बार-बार फाइल जिक्र आया है और अंत में दबे हुए आदमी के जीवन की फाइल पूर्ण होने की बात कही गई है।
• सरकारी दफ्तरों की लंबी और विवेकहीन कार्यप्रणाली की ओर बार-बार इशारा किया गया है।
• कहानी का मुख्य पात्र उस विवेकहीनता का शिकार हो जाता है।
उत्तर :  इस पाठ के ये शीर्षक हो सकते हैं।-
– आम आदमी और सरकारी विभाग
– फाइलों के बोझ से दबा आदमी
– सरकारी विभाग और उनके कार्य


प्रश्न 9:नीचे दिए गए अंग्रेज़ीं शब्दों के हिन्दी प्रयोग लिखिए-
अर्जेंट, फॉरेस्ट, डिपार्टमेंट, मेंबर, डिप्टी सेक्रेटरी, चीफ सेक्रेटरी, मिनिस्टर, अंडर सेक्रेटरी, हार्टीकल्चर डिपार्टमेंट, एग्रीकल्चर डिपार्टमेंट।
उत्तर :  अर्जेंट- अति शीघ्र
फॉरेस्ट- जंगल
डिपार्टमेंट- विभाग
मेंबर- सदस्य
डिप्टी सेक्रेटरी- उपसचिव
चीफ सेक्रेटरी- मुख्य सचिव
मिनिस्टर- मंत्री
अंडर सेक्रेटरी- अवर सचिव
हार्टीकल्चर डिपार्टमेंट- उद्यान विभाग
एग्रीकल्चर डिपार्टमेंट- कृषि विभाग


प्रश्न 10: इसकी चर्चा शहर में भी फैल गई और शाम तक गली-गली से शायर जमा होने शुरू हो गए– यह एक संयुक्त वाक्य है, जिसमें दो स्वतंत्र वाक्यों को समानाधिकरण समुच्चयबोधक शब्द और से जोड़ा गया है। संयुक्त वाक्य को इस प्रकार सरल वाक्य  में बदला जा सकता है- इसकी चर्चा शहर में भी फैलते ही शाम तक गली-गली से शायर जमा होने शुरू हो गए। पाठ में से पाँच संयुक्त वाक्यों को चुनिए और उन्हें सरल वाक्य में रूपांतरित कीजिए।
उत्तर :
संयुक्त वाक्य के उदाहरण-
1. प्रधानमंत्री ने इस पेड़ को काटने का हुक्म दे दिया, और इस घटना की सारी अंतर्राष्ट्रीय ज़िम्मेदारी अपने सिर ले ली है।
2. जामुन का पेड़ चूँकि एक फलदार पेड़ है, इसलिए यह पेड़ हार्टीकल्चर डिपार्टमेंट के अन्तर्गत आता है।
3. एक पुलिस कांस्टेबल को दया आ गई और उसने माली को दबे हुए आदमी को खाना खिलाने की इज़ाजत दे दी।
4. आधा आदमी उधर से निकल आएगा और पेड़ वहीं का वहीं रहेगा।
5. सेक्रेटरी अपनी गाड़ी में सवार होकर सेक्रेटेरिएट पहुँचा और दबे हुए आदमी से इंटरव्यू लेने लगा।
सरल वाक्य के उदाहरण-
1. प्रधानमंत्री ने पेड़ काटने का हुक्म देकर घटना की सारी अंतर्राष्ट्रीय ज़िम्मेदारी अपने सिर ले ली।
2. जामुन का पेड़ फलदार होने के कारण हार्टीकल्चर डिपार्टमेंट के अंतर्गत आता है।
3. एक पुलिस कांस्टेबल ने दया करके माली को दबे हुए आदमी को खाना खिलाने की इज़ाजत दे दी।
4. आधा आदमी उधर से निकल आने पर पेड़ वहीं का वहीं रहेगा।
5. सेक्रेटरी अपनी गाड़ी में सवार होकर दबे हुए आदमी का इंटरव्यू लेने सेक्रेटेरिएट पहुँचा।


प्रश्न 11: साक्षात्कार अपने-आप में एक विधा है। जामुन के पड़े के नीचे दबे आदमी के फाइल बंद होने (मृत्यु) के लिए ज़िम्मेदार किसी एक व्यक्ति का काल्पनिक साक्षात्कार करें और लिखें।
उत्तर :  साक्षात्कार
साक्षात्कार करने वाला- नमस्कार सुपरिंटेंडेंट साहब!
सुपरिंटेंडेंट- नमस्कार सर!
साक्षात्कार करने वाला- हमने सुना है कि पेड़ के नीचे दबे व्यक्ति को उसी समय निकाला जा रहा था मगर आपके दखल के कारण वह आज हमारे साथ नहीं है।
सुपरिंटेंडेंट- आप ऐसा कैसे बोल सकते हैं? मैंने अपनी ज़िम्मेदारी निभाई है। मुझे इस विषय में अपने विभाग से राय लेना आवश्यक था, सो मैंने किया। फिर इसमें मेरी सारी ज़िम्मेदारी कैसे है?
साक्षात्कार करने वाला- बड़े अचरच की बात है कि आपके कारण एक व्यक्ति अपने प्राणों से हाथ धो बैठा। आप कहते हैं कि इसमें आपकी ज़िम्मेदारी कैसे है? आपके द्वारा आरंभ किए गए फाइलों के दौर के कारण उस व्यक्ति की जान गई। आपने इंसानियत का साथ छोड़ दिया और आप कहते हैं कि आपकी ज़िम्मेदारी कैसे है? मैं तो आपकी सोच पर हैरान हूँ।
सुपरिंटेंडेंट- मैं एक सरकारी कर्मचारी हूँ। मैं बिना अपने विभाग की सहमति से कोई कार्य नहीं कर सकता।
साक्षात्कार करने वाला- अच्छा! यदि उस दबे व्यक्ति के स्थान पर आपका भाई, बेटा, पिता कोई भी होते तब भी आप ऐसा करते।
सुपरिंटेंडेंट- मेरा आपसे निवेदन है कि मेरे परिवार को इसके अंदर न लाएँ।
साक्षात्कार करने वाला- मैंने तो आपके परिवार की बात की थी, तो आप नाराज़ हो गए हैं। उस आदमी के बारे में सोचा आपने, जो इतने दिनों तक दर्द को झेलता रहा। उस समय आपने सोचा कि उस आदमी पर क्या गुज़र रही होगी। आप जैसे लोगों ने ही इंसानियत पर से विश्वास उठा दिया है।


दबा हुआ आदमी एक कवि है यह कैसे पता चला और इसका फाइल पर क्या असर पड़ा?

प्रश्न 2:दबा हुआ आदमी एक कवि है, यह बात कैसे पता चली और इस जानकारी का फाइल की यात्रा पर क्या असर पड़ा? उत्तर : सेक्रेटेरिएट का माली दबे हुए व्यक्ति को खाना खिलाने जाता है। खाना खिलाते समय वह दबे हुए व्यक्ति को बताता है कि उसके विषय में सभी सेक्रेटियों की मींटिग हो रही है। अतः उसके विषय में कुछ-न-कुछ फैसला निकल आएगा।

माली ने दबे हुए आदमी को बाहर निकालने के लिए क्या शर्त लगाई?

प्रश्न 4: माली ने दबे हुए आदमी को बाहर निकालने के लिए क्या शर्त लगाई? उत्तर- माली सरकारी कर्मचारी था। अगर वह स्वयं उस व्यक्ति को निकालने का निर्णय लेता तो ऊपर के अधिकारी उसे परेशान करते। अत: उसने अपनी परेशानी को देखते हुए सुपरिंटेंडेंट साहब से इजाजत लेने की बात कही।

हॉर्टिकल्चर डिपार्टमेंट के सेक्रेटरी को क्या कहा गया है उसने क्या टिप्पणी की?

हॉर्टीकल्चर डिपार्टमेंट के सेक्रेटरी को साहित्य-प्रेमी कहा गया है। उसने टिप्पणी की कि इस समय हम 'पेड़ लगाओ' स्कीम बड़े स्तर पर चला रहे हैं। ऐसे में किसी सरकारी अफसर द्वारा पेड़ काटने की बात हास्यास्पद है।

बेचारा जामुन का पेड़ कितना फलदार था और इसकी?

बेचारा जामुन का पेड़कितना फलदार था। और इसकी जामुनें कितन रसीली होती थीं। क ये संवाद कहानी के किस प्रसंग में आए हैं?